चित्र व आलेख- विकास वैभव
Ram Janaki Temple, Singar (Jhansi, u.p.)- गुरसराय-बामौर मार्ग पर गुरसराय से 12 किमी की दूरी पर ग्राम सिंगार में स्थित है यह भव्य राम जानकी मन्दिर। ग्राम सिंगार, सिंगार गिरि तथा ग्राम सुट्टा, सुट्टा गिरि नामक गुसाॅइयों के नाम पर है। सिंगार के मन्दिर को पं. बुद्ध सिंह अरेले सनाढय ब्राह्मण ने सन् 1830-33 ई. में एरच तथा ढेर ग्राम के कारीगरों द्वारा ग्रेनाइट की टौरिया पर करवाया था। उन्ही कारीगरों द्वारा निर्मित मूर्तियां तथा चित्र अब भी उपलब्ध हैं। मन्दिर में संगमरमर की भाँति चिकना प्लास्टर तथा चित्रकारी दर्शनीय है।
मन्दिर में प्रवेश हेतु दो द्वार का प्र्राविधान किया गया हैं। इसका मुख्य प्रवेश द्वार पूर्व की ओर है, जिस पर गणेश को उकेरा गया है। प्रमुख द्वार से 65 फुट 3 इंच लम्बे तथा 10 फुट 7 इंच चैड़े महामण्डप के चारों ओर बरामदों में चित्रण है। चित्रों में पृष्ठभूमि सपाट है तथा रंगों में रामरज, हिरमिजी, नील, काजल तथा हरा रंग है। मन्दिर के मध्य भाग में विद्यमान गर्भगृह मे संगमरमर के पत्थर से निर्मित राम-जानकी एवं लक्ष्मण जी की प्रतिमाएं स्थापित हैं। स्थापत्य कला की दृष्टि से बुन्देलखण्ड क्षेत्र मे यह मन्दिर अपना अद्वितीय स्थान रखता है।
निकट के दर्शनीय स्थल- वाराही देवी (कैरोखर), पठामढ़ी मन्दिर (ठर्रों) एव॔ जामा मस्जिद (एरच) आदि।
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Supper work ….art and culture of bundelkhand…..sir ..your work is total resurch work of PHd ,MPhil etc.